अब खेती होगी स्मार्ट, 80% तक छूट में मिलेंगी ये 12 आधुनिक मशीनें Krishi Yantra Subsidy Yojana

Krishi Yantra Subsidy Yojana – अब देश के लाखों किसानों के लिए खेती करना और भी आसान बन गया है। पहले जहां किसान महंगे कृषि यंत्रों को खरीदने से कतराते थे, वहीं अब सरकार की “कृषि यंत्र सब्सिडी योजना” ने किसानों की ये मुश्किल दूर कर दी है। इस योजना के तहत ट्रैक्टर, थ्रेशर, रोटावेटर, पावर टिलर जैसी महंगी मशीनें अब 40% से 80% तक की छूट पर मिल रही हैं। यानी किसानों को अब खेती के कामों के लिए ज्यादा मेहनत नहीं करनी पड़ेगी और उत्पादन भी बढ़ेगा।

खेती में तकनीक का जमाना, पुरानी मेहनत अब नहीं करनी पड़ेगी

आज के समय में खेती पुराने औजारों से करना न सिर्फ मुश्किल हो गया है बल्कि समय और लागत भी बहुत ज्यादा लगती है। खेत की जुताई से लेकर फसल की बुवाई, सिंचाई और कटाई तक हर काम के लिए अलग-अलग आधुनिक मशीनें जरूरी हो गई हैं। सरकार की यही कोशिश है कि किसान आधुनिक यंत्रों का इस्तेमाल करके खेती को आसान और लाभदायक बना सकें। इसलिए ये योजना उन किसानों के लिए एक सुनहरा मौका है, जो पहले मशीनों की कीमत सुनकर पीछे हट जाते थे।

सरकार की योजना, किसानों के लिए सीधा फायदा

कृषि यंत्र सब्सिडी योजना को केंद्र और राज्य सरकारें मिलकर चला रही हैं, ताकि ज्यादा से ज्यादा किसानों को इसका फायदा मिल सके। इस योजना को खास तौर पर “प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना”, “राष्ट्रीय कृषि विकास योजना” और “मिशन फॉर एग्रीकल्चर मेकेनाइजेशन” के तहत लागू किया गया है। योजना का मकसद है किसानों को अत्याधुनिक कृषि उपकरणों की खरीद के लिए प्रोत्साहित करना ताकि खेती में लागत घटे और आमदनी बढ़े।

कौन-कौन सी मशीनें मिलेंगी छूट पर?

इस योजना के तहत किसानों को ट्रैक्टर, पावर टिलर, हार्वेस्टर, सीड ड्रिल, स्प्रेयर, रीपर, बेलर, थ्रेशर, हल, रोटावेटर, मल्टी क्रॉप थ्रेशर और कंबाइन हार्वेस्टर जैसे कुल 12 आधुनिक यंत्रों पर सब्सिडी दी जा रही है। अलग-अलग राज्यों में यह सब्सिडी 40% से लेकर 80% तक हो सकती है। खास बात ये है कि एससी, एसटी, महिला, अल्पसंख्यक, छोटे और सीमांत किसानों को विशेष प्राथमिकता दी जाती है। कई राज्यों में तो ₹50,000 से ₹1.5 लाख तक की डायरेक्ट अनुदान राशि भी दी जा रही है।

कैसे और कहां करें आवेदन?

अगर आप भी इस योजना का लाभ लेना चाहते हैं, तो इसके लिए आपको अपने जिले के कृषि विभाग या CSC सेंटर में जाकर ऑनलाइन आवेदन करना होगा। कई राज्य सरकारों ने इसके लिए अपने कृषि पोर्टल भी बनाए हैं जहां आप रजिस्ट्रेशन कर सकते हैं। आवेदन के दौरान आपको आधार कार्ड, भूमि दस्तावेज, बैंक खाता, मोबाइल नंबर, पासपोर्ट साइज फोटो और जाति प्रमाण पत्र जैसे डॉक्युमेंट्स अपलोड करने होते हैं। सभी जानकारी सही तरीके से भरनी जरूरी है ताकि आगे चलकर कोई परेशानी न हो।

कैसे मिलेगी सब्सिडी?

अगर आपका आवेदन स्वीकृत हो जाता है तो आपका नाम लाभार्थी सूची में आ जाएगा। इसके बाद आप सरकार द्वारा अधिकृत डीलर से सब्सिडी वाली मशीन खरीद सकते हैं। सब्सिडी की राशि या तो सीधे आपके बैंक खाते में ट्रांसफर की जाएगी या फिर मशीन की कीमत में ही उसे घटा दिया जाएगा। पूरी प्रक्रिया पारदर्शी होती है और आप अपने आवेदन की स्थिति ट्रैक भी कर सकते हैं।

इन बातों का रखें ध्यान

आवेदन भरते समय कोई गलती न हो इसका खास ध्यान रखें। केवल सरकारी लिस्ट में शामिल डीलरों से ही मशीन खरीदें, ताकि सब्सिडी का लाभ सही से मिल सके। योजना की समयसीमा का पालन जरूरी है क्योंकि यह “पहले आओ–पहले पाओ” के आधार पर चलती है। बजट सीमित होता है, इसलिए जितना जल्दी आवेदन करेंगे उतना अच्छा रहेगा।

किसे मिलेगा ज्यादा फायदा?

अगर आप महिला किसान हैं, अनुसूचित जाति या जनजाति से हैं या फिर सीमांत या छोटे किसान हैं तो आपके लिए सब्सिडी की दर ज्यादा हो सकती है। ऐसे किसानों को प्राथमिकता दी जाती है। इसके अलावा किसान उत्पादक संगठन (FPO) या सहकारी समितियों के माध्यम से सामूहिक आवेदन भी किया जा सकता है। उत्तर प्रदेश, बिहार, राजस्थान, मध्य प्रदेश और महाराष्ट्र जैसे राज्यों में यह योजना तेजी से फैल रही है और वहां आवेदन प्रक्रिया काफी सुगम बनाई गई है।

FAQs

प्रश्न 1: क्या छोटे किसान भी इस योजना के लिए आवेदन कर सकते हैं?
हाँ, इस योजना में छोटे और सीमांत किसानों को प्राथमिकता दी जाती है। उन्हें ज्यादा सब्सिडी भी मिल सकती है।

प्रश्न 2: क्या यह योजना हर राज्य में उपलब्ध है?
यह योजना लगभग सभी राज्यों में लागू है, लेकिन सब्सिडी की दर और उपलब्ध मशीनें राज्य के हिसाब से अलग हो सकती हैं।

प्रश्न 3: मशीन की सब्सिडी कैसे मिलेगी – सीधे खाते में या मशीन की कीमत में कटौती के रूप में?
दोनों तरीकों से सब्सिडी दी जाती है। कुछ राज्यों में रकम सीधे खाते में जाती है, जबकि कुछ में मशीन की कीमत में कटौती होती है।

डिस्क्लेमर: यह लेख सामान्य जानकारी के उद्देश्य से लिखा गया है। सब्सिडी दर, पात्रता और आवेदन प्रक्रिया राज्य सरकारों की नीतियों के अनुसार बदल सकती है। कृपया आवेदन से पहले संबंधित सरकारी पोर्टल या कृषि विभाग से जानकारी की पुष्टि अवश्य करें।

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